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  • Tuesday, 03 December 2024
Mobile Phone से नपुंसकता जैसी गंभीर समस्या का खतरा

Mobile Phone से नपुंसकता जैसी गंभीर समस्या का खतरा

लंदन। मोबाइल फोन ने वर्तमान में हमें कई सहूलियतें दी हैं, लेकिन इसके बढ़ते इस्तेमाल से स्वास्थ्य संबंधी खतरे भी सामने आए हैं। इनमें सबसे प्रमुख खतरा है रेडिएशन, जो मोबाइल फोन से निकलती है और शरीर पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकती है, खासकर तब जब इसे जेब में रखा जाता है। विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि मोबाइल फोन को जेब में रखना सेहत के लिए हानिकारक हो सकता है और इसके कारण नपुंसकता जैसी गंभीर समस्याएं भी हो सकती हैं। विभिन्न अध्ययनों में यह पाया गया है कि मोबाइल फोन से निकलने वाली विकिरणें (रेडिएशन) कई तरह की स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकती हैं। एक रिसर्च के अनुसार, लगातार मोबाइल फोन का उपयोग करने से क्रोनिक स्ट्रेस, ब्रेन ट्यूमर और अन्य गंभीर बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। ऑस्ट्रिया और मिस्र के मेडिकल रिसर्चर्स ने एक अध्ययन में दावा किया कि मोबाइल का अत्यधिक उपयोग यौन समस्याओं का कारण बन सकता है। इस अध्ययन के दौरान 6 साल तक दो समूहों का विश्लेषण किया गया। एक समूह के पुरुषों में सेक्स से जुड़ी समस्याएं पाई गईं, जबकि दूसरे समूह में यह समस्या नहीं थी। इससे यह संकेत मिला कि मोबाइल फोन से निकलने वाली रेडिएशन यौन स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव डाल सकती है। इसके अलावा, एक अन्य अध्ययन में यह पाया गया कि मोबाइल फोन का अत्यधिक उपयोग हृदय रोग के जोखिम को बढ़ा सकता है।

मोबाइल फोन से पूरी तरह दूरी बना पाना मुश्किल है, लेकिन इसके उपयोग में कुछ सावधानियां बरतकर स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से बचा जा सकता है। मोबाइल फोन को पैंट की जेब में रखने से बचें और इसे बैग या पर्स में रखें। अगर जेब में रखना जरूरी हो, तो इसे पीछे की जेब में रखें। मोबाइल फोन का उपयोग सीमित करें और लंबे समय तक बात करने से बचें। एक अध्ययन में यह निष्कर्ष निकाला गया कि प्रति सप्ताह कम से कम एक कॉल करने से भी हृदय से जुड़ी समस्याओं का खतरा बढ़ सकता है। रेडिएशन का प्रभाव सिर्फ हृदय पर ही नहीं, बल्कि यह शरीर की डीएनए संरचना को भी प्रभावित कर सकता है, जिससे कैंसर और अन्य बीमारियों का खतरा बढ़ सकता है।

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