विश्व बिरादरी को Zelensky ने सुनाई खरी-खरी बोले- आपके कानून नहीं हथियारों से होता है फैसला
न्यूयॉर्क। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की दुनिया के तमाम देशों से शांति की गुहार लगाते लगाते परेशान हो गए है। एक भी देश या कोई वैश्विक मंच रुस और यूक्रेन का युद्ध रुकवाने में कामयाब नहीं हो पाया है। ऐसी परिस्थितयों से जूझते हुए जेलेंस्की ने संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूएनजीए) के मंच से विश्वबिरादरी को जमकर खरी-खरी सुना दी है। उन्होंने गुस्से में यहां तक कह दिया है अब दुनिया में अंतराष्ट्रीय कानूनों की वजाय हथियारों से फैसले होने लगे हैं। क्योंकि बड़े और ताकतवर देश अपने हिसाब से दुनिया को चलाना चाहते हैं। जेलेंस्की ने शांति और सुरक्षा की बात करते हुए दावा किया कि शांति अंतर्राष्ट्रीय कानून नहीं बल्कि हथियार तय करते हैं। जेलेंस्की ने कहा, आप भी उतनी ही सुरक्षा और शांति चाहते हैं जितनी आज हम (यूक्रेन) चाहते हैं। सुरक्षा की गारंटी हमारे (यूक्रेन) अलावा कोई नहीं दे सकता। केवल मजबूत गठबंधन, केवल मजबूत साझेदार और केवल हमारे अपने हथियार… 21वीं सदी अतीत से बहुत अलग नहीं है। अगर कोई राष्ट्र शांति चाहता है तो उसे अभी भी हथियारों पर काम करना होगा। अंतर्राष्ट्रीय कानून नहीं, सहयोग नहीं- बल्कि हथियार तय करते हैं कि कौन बचेगा। उन्होंने आगे कहा, फिलिस्तीन, सोमालिया और सूडान में जो कुछ हुआ उसे रोकने में कोई भी एक अंतरराष्ट्रीय संस्था सामने नहीं आई जिससे किसी भी आक्रमण को वास्तव में रोका जा सके। इसके बाद उन्होंने रूस-यूक्रेन जंग का जिक्र किया। बोले, मेरे देश के खिलाफ रूस का युद्ध जारी है, हर हफ्ते लोग मर रहे हैं, फिर भी युद्धविराम नहीं हो पा रहा है।
उन्होंने कहा कि यूक्रेन में संघर्षविराम संभव नहीं है क्योंकि रूस इसके लिए तैयार ही नहीं है। जेलेंस्की के मुताबिक, मॉस्को न केवल बच्चों का अपहरण कर रहा है बल्कि यूरोप को अस्थिर करने और नागरिक ढांचे को तबाह करने में जुटा है। जेलेंस्की ने दुनिया के नेताओं से सवाल किया, ‘हम अपने बच्चों को घर कब ला पाएंगे?’ उन्होंने कहा कि यूक्रेनियन लोग शांति चाहते हैं, लेकिन रूस बार-बार हमले कर रहा है। यूक्रेनी राष्ट्रपति ने चेतावनी दी कि रूसी हमले केवल यूक्रेन तक सीमित नहीं हैं। हाल ही में 19 रूसी ड्रोन पोलैंड की सीमा में घुसे, जिनमें से सिर्फ चार को मार गिराया। इसी तरह एस्टोनिया को भी पहली बार संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बैठक बुलानी पड़ी। ज़ेलेंस्की ने कहा- नाटो जैसे बड़े सैन्य गठबंधन का हिस्सा होना भी सुरक्षा की गारंटी नहीं है। ज़ेलेंस्की ने खुलासा किया कि रूस ने परमाणु संयंत्रों के पास भी गोलाबारी की, जिससे पूरी दुनिया को खतरा है। उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय संस्थाएं इतनी कमजोर हैं जिसकी वजह से यह ‘पागलपन’ जारी है।अपने संबोधन में जेलेंस्की ने चेतावनी दी कि अगर यूरोप ने ठोस कदम नहीं उठाया तो मोल्दोवा भी रूस के कब्जे में जा सकता है। उन्होंने कहा- हमने जॉर्जिया खो दिया, बेलारूस भी रूस की ओर झुक चुका है। अब यूरोप मोल्दोवा को नहीं गंवा सकता। उन्होंने यूरोपीय संघ से अपील की कि मोल्दोवा को ऊर्जा और आर्थिक मदद दी जाए।
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